दयालबाग के माथुर फार्म हाउस में सीईसी टीम को नहीं मिले कई सवालों के जवाब, एसएन मेडिकल कॉलेज से मांगी हरियाली की योजना
आगरा, 06 दिसंबर। ताज ट्रिपेजियम जोन (टीटीजेड) में पेड़ काटे जाने को शिकायत पर जांच करने आई सेंट्रल इम्पावरमेंट कमेटी (सीईसी) टीम को यहां दयालबाग स्थित माथुर फार्म हाउस के निरीक्षण के दौरान कई सवालों के जवाब नहीं मिले। टीम को गुमराह करने के लिए यहां ताजा पौधे रोपे गए थे। पौधों में लगने वाली खाद मौके पर पड़ी हुई थी।
एसपी गोयल के नेतृत्व में आई सीईसी टीम ने शुक्रवार को एसएन मेडिल कॉलेज का भी निरीक्षण किया और कॉलेज प्रशासन से हरियाली विकसित करने का प्लान मांगा।
माथुर फार्म हाउस में टीम को मौके पर केयर टेकर मिला। जमीन के मालिक के बारे में पूछा गया तो उसने कुछ बताया नहीं। उससे पूछा कि पेड़ क्यों काटे गए? क्या यहां कॉलोनी बनाई जा रही है? इस पर वह सकपका गया और बोला कि यहां बरातघर बनाने की योजना थी। उसी की पार्किंग के लिए पेड़ काटे गए। इस पर सीईसी टीम ने केयर टेकर का बयान दर्ज करने के लिए कहा।
टीम ने फार्म हाउस के निरीक्षण में पाया कि यमुना नदी की तलहटी की तरफ पक्की बाउंड्री लगी हुई थी। जमीन मालिक ने इस तरफ जाने का रास्ता बंद कर रखा था। पुलिसकर्मियों ने यहां अस्थायी रूप से लगे लोहे के दरवाजे को हटाया तो देखा कि यमुना किनारे गोशाला बनी हुई थी। सीईसी टीम ने यहां मौजूद कर्मचारी से पूछा कि यह निर्माण तो पूरी तरह से यमुना किनारे हुआ है, यदि बाढ़ आई तो कैसे बचोगे। इस पर कर्मचारी शांत रहा। इसके बाद टीम के सदस्यों ने पूछा कि आखिरी बार बाढ़ कब आई थी। इस पर भी कर्मचारी शांत रहा। सीईसी को यहां डूब क्षेत्र का निशान भी मिला।
इससे पहले सीईसी टीम एसएन मेडिकल कॉलेज पहुंची। यहां मिनी एम्स बनाने के लिए बिल्डिंग निर्माण का कार्य चल रहा है। इसके लिए लगभग 25 पेड़ काटे जाने हैं। टीम ने यहां निरीक्षण किया और एसएन मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डा. प्रशांत गुप्ता से इन पेड़ों के काटे जाने के बाद कॉलेज में किस तरह की हरियाली रहेगी और कितना एरिया हरित क्षेत्र रहेगा, इस संबंध में प्लान मांगा। जांच-पड़ताल करने के बाद टीम रवाना हो गई। यह टीम जल्द अपनी रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट को सौपेंगी।
गौरतलब है कि पर्यावरण एक्टिविस्ट डा. शरद गुप्ता ने मथुरा जिले के छटीकरा स्थित डालमिया बाग और आगरा में दयालबाग स्थित माथुर फार्म हाउस में पेड़ काटे जाने के संबंध में सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने पेड़ों के अवैध कटान होने की शिकायत पर नाराजगी व्यक्त की थी। इसी क्रम में सीईसी टीम ने यहां का दौरा किया।
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